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New Rules : वाहन चालकों के लिए बड़ी खबर, इस नियम को तोड़ा तो कटेगा भारी चालान

 
Traffic Rules : जब भी हम अपने वाहन को लेकर सड़क पर जाते हैं तो यातायात के नियमों का पालन करना होता है। अगर हम नियमों का पालन नहीं करते हैं तो हमें भारी चालान को देना पड़ सकता है। आइए जानते हैं यातायात के नए नियमों के बारे में। Dainik Haryana News :#New Traffic Rules (ब्यूरो) : गलत साईड से ओवरटेक करने तथा शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों पर सख्ती होगी। ऐसे लोगों के ज्यादा से ज्यादा चालान किए जाएंगे। शहर में करीब 7 हजार की संख्या पार कर चुकी सडक़ों पर बेतरतीब दौडक़र दुर्घटनाओं को अंजाम देती ई-रिक्शा के भी रजिस्ट्रेशन और लाईसेंस न होने पर चालान किए जाएंगे। वैशाली शर्मा ने पुलिस विभाग के डीएसपी वीर सिंह(DSP Veer Singh) और आर.टी.ए. (RTA)सचिव विजय देशवाल को यह निर्देश देते कहा कि दुर्घटनाओं को रोकने के लिए एक सघन अभियान चलाया जाए। मीटिंग में प्रस्तुत एजेंडा में सडक़ों पर गढ्ढ के कई बिन्दू शामिल थे। एक बिन्दू दून वैली कॉलेज के आगे से होकर ब्रह्मनंद चौक तक जाने वाली सडक़ पर खुले सीवर मेन होल को लेकर था। इस पर एडीसी ने नाराजगी दिखाते कहा कि यह एजेंडा में ही नहीं आना चाहिए था, वैसे भी आर.टी.एस.(RTA) में प्रावधान है कि ऐसे होल को दो घण्टे के अंदर ढक्कन से कवर कर देना चाहिए, ताकि कोई दुर्घटना न हो। READ ALSO : Google News: गूगल ने हटाए फोन से डाटा चोरी करने वाले 30 से ज्यादा ऐप्स, कहीं आपके फोन में तो नहीं चैक कर तुरंत हटा दें उन्होंने नगर निगम की कार्यकारी अभियंता को निर्देश दिए कि खुले मेन होल पर आज ही ढक्कन लगवाएं। सडक़ों पर गढ्ढे के बिन्दूओं में अधिकांश अधिकारियों ने वर्क डन की रिपोर्ट दी। आई.डी.टी.आर.(IDTR) से सम्बंधित एक बिन्दू में जानकारी दी गई थी कि उक्त संस्थान की ओर से भिन्न-भिन्न केटेगरी के 125 वाहन चालकों को बीते मार्च में प्रशिक्षण दिया गया और 115 को सर्टिफिकेट जारी किए गए। रिपोर्ट में यह भी था कि 19 दिसंबर 2022 से 14 मार्च 2023 के बीच प्रशिक्षणार्थियों की कुल संख्या 514 और सर्टिफिकेट प्राप्त करने वालों की संख्या 324 है। इस बिन्दू पर चर्चा के दौरान गैर सरकारी सदस्य संदीप लाठर ने कहा कि जीएम रोडवेज के कार्यालय तथा आईडीटीआर में प्रशिक्षण के लिए जो फीस स्ट्रक्चर निर्धारित किए गए हैं, उनमें कुछ अंतर है। आईडीटीआर(IDTR) से आए एक प्रतिनिधि ने इस बारे स्पष्टï करते कहा कि सभी शुल्क सरकार की ओर से निर्धारित किए गए हैं, जो संस्थान में प्रशिक्षण, विशेषताओं, सुविधाओं और ज्यादा समय लगाकर ट्रेंड करने के लिए हैं। फिर भी अतिरिक्त उपायुक्त ने कहा कि उपायुक्त महोदय से इस बारे डिस्कस करेंगे। READ MORE : Aadhar Card से जुड़ें नियमों में बड़ा बदलाव, चेक करें ताजा अपडेट एजेंडा में इंटाग्रेटिड रोड एक्सीडेंट डाटाबेस की प्रोजेक्ट मैनेजर स्वाति गुप्ता की रिपोर्ट भी शामिल थी, जिसमें वर्णन किया गया था कि वर्ष 2022 व 23 की तुलना में जिला में सडक़ दुर्घटनाओं में तो इजाफा हुआ है, लेकिन जानलेवा दुर्घटनाओं में कमी आई है। दुर्घटनाओं का कारण उन्होंने हाई स्पीड, रोंग साईड से ओवर टेक और शराब पीकर गाड़ी चलाना बताया। अतिरिक्त उपायुक्त ने आरटीए सचिव को निर्देश दिए कि लोगों को जागरूक करने के लिए अभियान चलाया जाए। जहां-जहां वलनरेबल पाँयट हैं, उन पर ज्यादा फोकस करें। आरटीए सचिव की ओर से पुलिस विभाग द्वारा बीते मार्च में किए गए चालान और उनसे रिकवर की गई राशि की जानकारी देते बताया गया कि इस अवधि में पुलिस द्वारा विभिन्न वायलेशन के 9 हजार 944 चालान किए और दोषी व्यक्तियों से 32 लाख 72 हजार 300 रूपये की जुर्माना राशि रिकवर की गई। READ ALSO : Old Pension Update : इस राज्य ने बहाल की पुरान पेंशन! खुशी से उछले कर्मचारी बता दें कि बीती मार्च की मासिक बैठक में उपायुक्त द्वारा विभिन्न विभागों को रोड सेफ्टी एक्शन प्लान बनाने के निर्देश दिए थे, ताकि सडक़ दुर्घटनाओं में 20 प्रतिशत कमी हो जाए। इस एजेंडा बिन्दू पर एडीसी को आरटीए के इस जवाब से, कि किसी अधिकारी ने अब तक प्लान की रिपोर्ट नहीं दी, हैरत हुई। उन्होंने निर्देश दिए कि अगले 15 दिन में इस तरह का प्लान जरूर तैयार कर लें। यूं तो मासिक एजेंडा 46 बिन्दूओं को लेकर था, जिनमें 30 बिन्दू पिछली मीटिंगों से लंबित चले आ रहे, से सम्बंधित थे। अधिकांश में अधिकारियों ने वर्क डन और प्रगति पर चल रहे की रिपोर्ट दी। चार बिन्दू ड्रॉप कर दिए गए, इतने ही पैंडिंग रहे। चालू मास अप्रैल के 16 बिन्दू थे। अतिरिक्त उपायुक्त ने सभी सम्बंधित अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे अगली मीटिंग में इन सभी बिन्दूओं पर कार्रवाई करके रिपोर्ट प्रस्तुत करें।  आरटीए(RTA) से कुछ अतिरिक्त फंड की भी जरूरत है। इससे सभी समस्याों का हल हो जाएगा। एडीसी ने आरटीए सचिव को निर्देश दिए कि वे फंड अवलेबल करवा दें।