{"vars":{"id": "112803:4780"}}

Railway News : इस किसान के पास थी अपनी खुद की ट्रेन, रेलवे की गलती से बना था ट्रेन का मालिक

 
Railway Update : एक समय था जब पहले के राजा महाराजाओं के पास बहुत कुछ होता था और उनके महल में सभी सुविधाएं होती थी। आज के समय में भी लोग इनते अमीर हैं कि उनके पास अपने खुद के जहाज हैं। लेकिन क्या आपने सुना है कि किसी के पास अपनी खुद की ट्रेन है जी हां, भारत के एक किसान के पास अपनी खुद की ट्रेन होती थी। आज हम आपको उसी के बारे में बताने जा रहे हैं कि उसके पास कैसे वो ट्रेन आई थी। जानने के लिए बने रहें हमारे साथ। Dainik Haryana News,Indian Railway(नई दिल्ली):भारत में रेलवे विभाग सरकार के अधीन है और वो सरकार की संपत्ति है। क्या आपने कभी ऐसा सोचा है कि किसी के पास अपनी पर्सनल ट्रेन होती हो। जी हां, भारत का एक ऐसा किसान है जिसके पास रेलवे की ही गलती की वजह से वो रेल आई थी। दरअसल, उसका संपूर्ण सिंह है जो लुधियाना के कटाणा गांव के रहने वाले हैं। लुधियाना चंडीगढ़ रेल लाइन के बनने के वक्त साल 2007 में रेलवे ने किसानों की जमीन को खरीदाा था। उस समय एक एकड़ के किसानों को 25 लाख रूपये मिले थे। लेकिन पड़ोसी गांव में 71 लाख रूपये प्रति एकड़ जमीन का अधिग्रहण हुआ और पास के गांव के किसानों में रोष पैदा हो गया। ये बात संपूर्ण सिंह को अच्छी नहीं लगी और उसने बड़ा कदम उठाने का फैसला लिया। आइए देखते हैं क्या था उनका कदम। READ ALSO :Haryana News: बिना परीक्षा मिलेगी नौकरी, हरियाणा सरकार का युवाओं के लिए बड़ा तोहफा!

रेलवे ने नहीं दिए किसानों के पैसे :

इस सब की शिकायत संपूर्ण सिंह( Sampurna Singh) ने कार्ट में की उसके बाद कोर्ट ने फैसला लिया और रकम को बढ़ाकर 50 लाख रूपये कर दिया गया उसके बाद भी 1.47 करोड़ रूपय कर दिया गया था। उसके बाद साल 2012 में पहली याचिका दायर की और कोर्ट ने रेलवे को भुगतान के आदेश दिए। इसके बाद भी रेलवे ने सिर्फ 42 लाख रूपये की दिए वादे के अनुसार 1.05 करोड़ रूपये रेलवे ने नहीं दिए। READ MORE :Water Bill : इन लोगों को नहीं देना होगा कोई ब्याज और पानी का बिल, क्या आपका भी नाम आया लिस्ट में?

साल 2017 में रेलवे को कुर्क किया :

न्यायाधीश जसपाल वर्मा( Justice Jaspal Verma) ने लुधियाना स्टेशन पर ट्रेन को कुर्क करने के आदेश जारी कर दिए। संपूर्ण सिंह वकीलों के साथ स्टेशन पर पहुंचे और रेलवे को कुर्क कर लिया गया था। कहा जाए तो अब संपूर्ण सिंह रेल के मालिक बन गए थे। हालांकि, सेक्शन इंजीनियर ने कोर्ट के अधिकारियों के जरिण् 5 मिनट में रेल को मुक्त करवा लिया था। देखा जाए तो वो सख्श आज भी रेल का मालिक ही है क्योंकि वो आज भी रेलवे से होने वाली कमाई ले रहे हैं।