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Success Story: किसान परिवार में जन्में जगदीप धपकड़ कैसे पहुंचे उपराष्ट्रपति के पद तक जानें सफलता की कहानी

 
Vice President Success Story: आज हम आपके लिए किसी IAS,IPS के सफलता की कहानी नहीं लेकर आए, बल्कि देश के उपराष्ट्रपति के सफलता की कहानी लेकर आए हैं।   Dainik Haryana News: #Jagdeep Dhankar Success Story(ब्यूरो):कैसा रहा जगदीप धनकड़ का उपराष्ट्रपति बनने तक का सफर। धनकड़ का जन्म राजस्थान के झुंझुनूं जिले के एक छोटे से गांव किठाना में एक किसान परिवार में हुआ। धनकड़ ने अपनी शुरूआती पढ़ाई चित्तौड़गढ़ के सैनिक स्कूल से पुरी की। इसके बाद राजस्थान में ही विश्वविदालय से ही L.L.B की।

1989 में चुने गए सांसद

धनकड़  VP Singh की सरकार में 1989 के लोकसभा चुनाव झुंझंनू जिले से सांसद चुने गए। 1990 में राज्य मंत्री चुने गए। साल 1991 में धनकड़ ने जनता दल को छोड़ कांग्रेस के पाले में आ गए। साल 1993 में जगदीप धनकड़ ( Jagdeep Dhankar)अजमेर के किशनगढ़ से विधायक बने। लेकिन धनकड़ ने साल 2003 में कांग्रेस को छोड़ BJP का पल्ला थाम लिया। धनकड़ पश्चिम बंगाल के पूर्व राज्यपाल भी रह चुके हैं। Read Also: Pension Scheme : पेंशन को लेकर सामने आ रही बड़ी खबर, क्यों कम हो रही रजिस्टर लोगों की संख्या उन्हे साल 2019 में नियुक्त किया गया था। जगदीप धनकड़ जाट समाज से तालुक रखते हैं। धनकड़ खेलों में भी रूचि रखते हैं। वो राजस्थान टेनिस संघ और राजस्थान ओलंपिक संघ के अध्यक्ष भी रह चुके हैं। शनिवार को उनका गांव और पुरा परिवार जशन के महौल में डूब गया। जब जगदीप धनकड़( Jagdeep Dhankar) को देश का नया उपराष्ट्रपति चुना गया। वर्तमान में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला भी राजस्थान से ही हैं। Read Also: Today LPG Gas Price : गैस सिलेंडर की कीमतों में आई कमी, ग्राहक हुए खुश ऐसी रही जगदीप धनकड़( Jagdeep Dhankar) की एक किसान परिवार में जन्म लेने से लेकर उपराष्ट्रपति बनने तक का सफर। जगदीप धनकड़ ( Jagdeep Dhankar)लोगों के लिए प्रेरणा का स्त्रोत बन चुके हैं। कैसे एक किशान का बेटा इतनी बड़ी उपाधि तक पहुंचा। धनकड़ के गांव में भी खूशी का माहौल है।