UPSC Success Story : 4 बार असफल होने के बाद 5वीं बार में हासिल की आईआरएस की कुर्सी
Dainik Haryana News, IRS Damini Diwakar Success Story (New Delhi) : आईएएस-आईपीएस अधिकारी बनने के लिए सिविल सेवा परीक्षा को पास करना पड़ता है। हर साल लाखों उम्मीदवार इस परीक्षा को देते हैं। लेकिन इंटरव्यू राउंड तक कुछ हजार ही पहुंच पाते हैं। फाइनल सेलेक्शल लगभग एक हजार उम्मीदवारों का होता है। कुछ ही ऐसे होते है जो एक बार में ही सिलेक्ट हो जाते है। आज हम आपको आईआरएस दामिनी दिवाकर की कहानी बताने जा रहे है जिन्होंने बार बार असफल होने के बाद भी 5वें प्रयास में यूपीएससी की परीक्षा को पास किया।
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दामिनी दिवाकर मध्यप्रदेश के एक छोटे से गांव की रहने वाली हैं। जब वह 3 साल थीं तो उसके पिता जी गुजर गए थे। वह उसकी मां के सरंक्षण में पली बढ़ी। दामिनी की एक बड़ी बहन भी हैं। इस तरह परिवार की तीन महिलाओं ने मिलकर जीवन के रास्ते में आने वालों संघर्षों का सामना किया।
कॉलेज में ही तय कर लिया था सिविल सर्वेंट बनना
दामिनी दिवाकर ने कॉलेज की पढ़ाई के दौरान सिविल सर्विसस में जाने का फैसला किया था। उन्होंने अपने कॉलेज में कई काउंसलिंग प्रोगाम में हिस्सा लिया जहां उनकी मुलाकात कई सिविल सर्वेंट्स से हुई। उनकी प्रेरक कहानियों ने दामिनी को भी प्रेरित किया।
कई असफलताओं के बाद मिली कामयाबी
दामिनी दिवाकर के लिए यूपीएससी क्रैक करने की जर्नी आसान नहीं थी. इस जर्नी में कई असफलताओं का सामना करना पड़ा. उन्हें यूपीएससी के चार अटेम्प्ट में असफलता हाथ लगी. इसके बाद उन्होंने पांचवें प्रयास में ऑल इंडिया 435 रैंक हासिल की।
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यूपीएससी में ऑप्शनल सब्जेक्ट
दामिनी दिवाकर ने यूपीएससी में ऑप्शनल सब्जेक्ट के तौर पर मनोविज्ञान रखा था. दामिनी के अनुसार मनोविज्ञान इसलिए ऑप्शनल के तौर पर रखा था क्योंकि उन्हें इससे हमेशा ही कुछ नया सीखने को मिलता था. इसलिए यह विषय उन्हें हमेशा ही आकर्षित करता था. रिपोर्ट्स के अनुसार दामिनी ने यूपीएससी की तैयारी के लिए कोई कोचिंग नहीं की थी। दामिनी दिवाकर यूपीएससी 2022 बैच की आईआरएस हैं।